बिहार राज्य के तमाम मेडिकल कॉलेजों में अब सस्ता भोजन उपलब्ध होगा। स्वास्थ्य विभाग के साथ एमओयू साइन के बाद 3 महीनें में सभी मेडिकल कॉलेज अस्पतालों में दीदी की रसोई खुलेगी। जीविका समूह के सीईओ राहुल कुमार ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग एवं जीविका समूह के बीच समझौता पत्र पर हस्ताक्षर होगा। इसके लिए स्वास्थ्य विभाग के साथ समन्वय स्थापित हो रहा है, और शीघ्र ही इस दिशा में कार्रवाई की जाएगी। आगामी 3 माह में सभी मेडिकल कॉलेज अस्पतालों में दीदी की रसोई का संचालन शुरू होगा।

उन्होंने बताया कि दीदी की रसोई के संचालन को लेकर बिजनेस प्लान तैयार हो चुका है। विभिन्न मेडिकल कॉलेज अस्पतालों में मानव संसाधन की जरूरत, पूंजी के निवेश आदि का आकलन करने के बाद इसे क्रियान्वित किया जाएगा। सूत्रों के अनुसार मेडिकल कॉलेज अस्पतालों में मरीजों, उनके परिजनों और कर्मियों की वास्तविक स्थिति का आकलन करने के बाद भोजन की थाली का दर तय होगा। अस्पताल प्रशासन व जीविका समूह दर का निर्धारण करेंगे। वर्तमान में जिला अस्पतालों व अनुमंडलीय अस्पतालों में संचालित दीदी की रसोई में प्रति व्यक्ति 150 रुपये ली जाती है।

जबकि हाल ही में मानसिक आरोग्यशाला, कोईलवर के लिए किए गए समझौते के तहत 157.03 रुपये प्रति व्यक्ति की दर से भोजन उपलब्ध कराने का फैसला हुआ है। मेडिकल कॉलेज अस्पतालों में दीदी की रसोई के अलावा अन्य कोई कैंटीन खोलने की अनुमति नहीं होगी। PMCH में फिलहाल प्रति मरीज भोजन हेतु 100 रुपए लगता है। सूत्रों के मुताबिक राज्य के 51 जिला एवं अनुमंडलीय अस्पतालों में दीदी की रसोई का संचालन हो रहा है।

स्वास्थ्य विभाग के दिशा-निर्देश पर राज्य के सारे मेडिकल कॉलेज अस्पतालों में भी इसके विस्तारित करने को लेकर तैयारी चल रही है। PMCH के अधीक्षक आईएस ठाकुर ने कहा कि अस्पताल परिसर में जीविका दीदी की रसोई के लिए जगह निर्धारित कर दिया गया है। जीविका समूह की तरफ से पहल करने के साथ ही अस्पताल परिसर में दीदी की रसोई शुरू कर दी जाएगी। हमें जीविका समूह की पहल की प्रतीक्षा है।

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