बिहार सरकार के माननीय मंत्री, विधि विभाग, बिहार सरकार एवं माननीय मंत्री, राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग, बिहार सरकार के संयुक्त अध्यक्षता में बिहार राज्य धार्मिक न्यास पर्षद के बेवसाईट/पोर्टल पर मठ/मंदिर की सूची अपलोड करने संबंधी बैठक हुई जिसमें माननीय मंत्री के अलावा
अपर मुख्य सचिव, राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग/ सचिव-सह-विधि परामर्शी, विधि विभाग, बिहार, पटना/ पीठासीन पदाधिकारी, बिहार राज्य धार्मिक न्यास न्यायाधिकरण/ विशेष सचिव-सह-अपर विधि परामर्शी, बिहार, पटना/ निदेशक, भू-अभिलेख एवं मरिमाप निदेशालय, पटना/ अवर सचिव-सह-उप विधि परामर्शी, विधि विभाग/ विशेष आमंत्रित सदस्य, श्री कामेश्वर चैपाल, बिहार राज्य धार्मिक न्यास पर्षद के सदस्यगण एवं एवं प्रमंडलीय आयुक्त, दरभंगा, मुजफ्फरपुर, सहरसा, छपरा, भागलपुर एवं पूर्णिया द्वारा भाग लिया गया।
बैठक में बिहार राज्य धार्मिक न्यास पर्षद के पोर्टल/बेवसाईट पर जिलों के मठ/मंदिरों की परिसम्पत्तियों से संबंधित अभिलेखों को जिला स्तर से अपलोड करने की समय सीमा को प्रमंडलीय आयुक्त, दरभंगा द्वारा किये गये अनुरोध के आलोक में एक माह तक विस्तारित करने का निर्णय लिया गया है।
वत्र्तमान में दरभंगा, सारण, वैशाली, जमुई, पूर्णिया, मधेपुरा, बाँका, अररिया, गोपालगंज, सहरसा, किशनगंज एवं सिवान अर्थात, कुल 12 जिलों द्वारा 650 मठ/मंदिरों की परिसम्पत्तियों से संबंधित अभिलेख को पोर्टल/बेवसाईट पर अपलोड किया गया है। शेष जिलों से अपलोड किया जा रहा है।
सरकार के निर्णय के आलोक में सप्ताह मे दो दिन अंचलाधिकारी द्वारा क्षेत्र भ्रमण के क्रम में मठ/मंदिरों की जाँच करनी है तथा शनिवार को मठ/मंदिर की कोई मामला आता है तो उसका निदान करना है। साथ ही वत्र्तमान में विशेष सर्वे अभियान के तहत राज्य के सभी मठ/मंदिर को सर्वे सेटलमेंट ऑफिस में सूचना देकर उसकी पैमाईस कराते हुए
नया सर्वे में सभी मठ/मंदिरों को समाहित करना है तथा अनिबंधित मठ/मंदिरों की जमीन को अबिलम्ब निबंधित करने हेतु बिहार धार्मिक न्यास पर्षद द्वारा कार्रवाई की जानी है ताकि मठ/मंदिरों का संरक्षण किया जा सके तथा मठ/मंदिर की जमीन पर अवैध बिक्री पर रोक लगाने हेतु निर्णय लिया गया। साथ ही चार्टटेड एकाउंटेन्ट द्वारा बताया गया कि बिहार हिन्दू धार्मिक न्यास अधिनियम, 1950 में उल्लेखित प्रावधान के अनुसार जिलों में निबंधित मठ/मंदिरों की ऑडिट करायी जा सकती है।