बिहार में कोरोना के नए मामले अब 250 से भी कम हो गए हैं। बीते 24 घंटे में मात्र 235 नए मामले आए हैं। राज्य में एक्टिव मामलों की संख्या भी अब घटकर 2354 हो गई है। तीसरी लहर में 14 जनवरी 2022 को सबसे अधिक 13,934 नए मामले आए और इसके साथ ही पीक माना जा रहा है। बिहार लगातार 4 दिनों से देश में नए संक्रमण के मामले में 25वें नंबर पर है। संक्रमण की दर भी 0.25% है।

बड़ी बात यह है कि बिहार के गांव कोरोना संक्रमण से मुक्त हो रहे हैं। बिहार के 534 में से 360 ब्लॉक कोरोना से मुक्त हो गए हैं। अब शहर और बाजारों में ही कोरोना के मामले मिल रहे हैं। कुल 45,103 गांवों में से करीब 90% पूरी तरह ‘कोरोना फ्री’ हो गए हैं।

पटना में संक्रमण तेजी से बढ़ रहा था, लेकिन अब यहां उतनी ही तेजी से नए मामले कम हो रहे हैं। पटना में तो संक्रमण का मामला 50 से भी कम हो गया है। 24 घंटे में मात्र 48 लोगों की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। पटना के 5 ब्लॉक बख्तियारपुर, खुशरुपुर, पुनपुन, मनेर और धनरुआ में 8 दिनों से कोरोना का एक भी नया मामला नहीं आया है। ऐसे मामलों की संख्या भी अब तेजी से कम हो गई है, जिन्हें अस्पताल में भर्ती कराने की जरूरत पड़ रही है।

संक्रमण घटते ही घटा दी गई कोरोना जांच

संक्रमण कम होते ही बिहार में कोरोना की जांच घटा दी गई है। एक दिन में जहां लगभग 2 लाख जांच होती थी, अब आंकड़ा 95 हजार के करीब हो गया है। स्वास्थ्य विभाग का कहना है कि कोरोना की संक्रमण दर घटने के कारण जांच कम हुई है। कई जिले ऐसे हैं, जहां अब एक भी मामला नहीं आ रहा है। इसमें जहानाबाद, कैमूर, खगड़िया, लखीसराय और शेखपुरा जिला शामिल हैं।

कम्यूनिटी स्प्रेड को मान रहे तीसरी लहर कम होने की बड़ी वजह
कोरोना की तीसरी लहर में संक्रमण दर कम होने के पीछे सबसे बड़ा कारण कम्यूनिटी स्प्रेड बताया जा रहा है। पटना एम्स के डॉ अनिल कुमार का कहना है कि कम्यूनिटी स्प्रेड के कारण ही मामले कम हो रहे हैं।

स्वास्थ्य विभाग और एक्सपर्ट मान रहे हैं कि अधिकांश लोगों तक कोरोना पहुंच गया। भले वो डिटेक्ट न हो सके हों या नंबर्स में शामिल न हुए हों। इसी वजह से अब धीरे-धीरे संक्रमण कम हो गया। अगर वैक्सीनेशन में रफ्तार और तेज कर दी गई तो कोरोना से राहत मिल सकती है। ऐसे में लोगों को सावधानी और कोरोना वैक्सीनेशन पर पूरा ध्यान देना होगा।

पटना AIIMS के कोरोना नोडल डॉ. संजीव कुमार का कहना है कि अब तीसरी लहर सिमट रही है। संक्रमण का मामला तेजी से कम हुआ है। संक्रमण के बाद अब इसके साइड इफेक्ट से बचाव के लिए काम करना होगा।

इंदिरा गांधी आयुर्विज्ञान संस्थान (IGIMS) के मेडिकल सुपरिटेंडेंट डॉ मनीष मंडल का कहना है कि कोरोना की तीसरी लहर तो खत्म हो रही है, लेकिन अभी पोस्ट कोविड के मामलों को लेकर पूरी तरह से गंभीर होना होगा।

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