राज्य में जमीन के सर्वे की प्रक्रिया चल रही है। दस्तावेजों को जमा करने की समय सीमा तीन महीने और बढ़ने जा रही है। इसकी तैयारी राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग के स्तर पर कर ली है। राज्य सरकार के स्तर से इस पर अंतिम मुहर लगने के बाद ही इससे संबंधित आदेश जारी हो जाएगा।
मौजूदा व्यवस्था के अंतर्गत जमीन सर्वे में दस्तावेजों को जमा करने की समय सीमा 30 नवंबर को पूरी हो रही है। इसके बाद किस्तवार(क्रॉस चेकिंग) का कार्य शुरू होना था, लेकिन अब समय सीमा में तीन महीने की वृद्धि होने के बाद किस्तवार का कार्य इसके बाद शुरू होगा। किस्तवार के तहत जमा दस्तावेजों की समुचित जांच करने का प्रावधान है। साथ ही छूटे हुए जरूरी दस्तावेजों को जमा कराया जाएगा। यह दूसरा मौका है, जब सर्वे कार्यक्रम के अंतर्गत जमीन के दस्तावेजों को जमा करने की समय सीमा बढ़ाई गई है। राज्य के सभी प्रखंडों में 20 अगस्त से जमीन सर्वे का काम शुरू हो गया है। इस समय जमीन के दस्तावेजों को जमा करने की समय सीमा एक महीने के लिए रखी गई थी। मगर लोगों को दस्तावेजों की प्रति अंचल कार्यालयों में निकालने में आ रही समस्या और कई लोगों के पास जमीन के खतियान से संबंधित पूरे कागजात नहीं होने जैसी अनेक परेशानियों को देखते हुए दस्तावेजों को जमा करने की मियाद तीन माह बढ़ा दी गई थी, जिसकी अवधि 30 नवंबर को समाप्त हो रही है। अब तक जमीन दस्तावेजों से संबंधित समस्याएं समाप्त नहीं हुई हैं, इसके मद्देनजर दस्तावेजों को जमा करने की समयसीमा तीन माह बढ़ाने का निर्णय लिया जा रहा है।
नई व्यवस्था को भी लागू करने पर हो रहा विचार
जमीन सर्वे में दस्तावेजों को जमा कर आगे की प्रक्रिया पूरी करने के लिए एक नई व्यवस्था लागू करने पर भी विभाग के स्तर से विचार किया जा रहा है। इस पर जल्द ही अंतिम निर्णय ले लिया जाएगा।
जिन अंचलों में जमीन दस्तावेजों को जमा करने की प्रक्रिया पूरी हो जाएगी, वहां इसके आगे के चरण यानी किस्तवार की प्रक्रिया की शुरुआत कर दी जाएगी। यानी अगर तीन महीने के पहले ही जिस किसी अंचल में दस्तावेजों को जमा करने की प्रक्रिया पूरी हो जाएगी, वहां किस्तवार की शुरुआत हो जाएगी।
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