बिहार में भ्रष्टाचार पर नकेल कसने की सरकार की मुहिम के तहत निगरानी विभाग ने एक और बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया है। गया जिले के डुमरिया अंचल में तैनात राजस्व कर्मचारी राजू कुमार को डेढ़ लाख रुपये की रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार किया गया है। यह कार्रवाई पटना से पहुंची निगरानी टीम ने की, जिसने एक सुनियोजित ट्रैप ऑपरेशन के तहत आरोपी कर्मचारी को पकड़ा। गिरफ्तार कर्मचारी को तुरंत पटना ले जाया गया, जहां उससे पूछताछ की जा रही है।

यह कार्रवाई भ्रष्टाचार के खिलाफ चल रही राज्यव्यापी मुहिम का हिस्सा है, जिसमें सरकारी दफ्तरों में रिश्वतखोरी और अनियमितताओं पर नकेल कसने के प्रयास तेज किए गए हैं।

शिकायत से शुरू हुई कार्रवाई

मामले की शुरुआत डुमरिया प्रखंड के मदारपुर गांव निवासी अनवर खान की शिकायत से हुई। अनवर खान ने निगरानी विभाग में शिकायत दर्ज कराई थी कि राजस्व कर्मचारी राजू कुमार ने उनसे जमीन के ऑनलाइन रिकॉर्ड अपडेट करने के एवज में पांच लाख रुपये की रिश्वत मांगी थी।
शिकायत के साथ अनवर ने एक ऑडियो क्लिप भी सौंपी, जिसमें राजू कुमार की रिश्वत मांगने की बात साफ-साफ रिकॉर्ड थी। बाद में सौदेबाजी के बाद तीन लाख रुपये में बात तय हुई, और अंततः डेढ़ लाख रुपये की पहली किस्त देने का समझौता हुआ।

निगरानी विभाग ने बिछाया जाल

शिकायत की पुष्टि करने के बाद निगरानी विभाग ने एक ट्रैप ऑपरेशन की योजना बनाई। तय प्लान के मुताबिक, अनवर खान को कहा गया कि वे आरोपी राजस्व कर्मचारी को डुमरिया अंचल कार्यालय के पास स्थित अस्पताल के समीप पानी की टंकी के पास बुलाएं।
जैसे ही राजू कुमार वहां पहुंचे और रिश्वत की रकम ली, निगरानी टीम ने तुरंत दबिश दी और उसे रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया।
टीम ने मौके से डेढ़ लाख रुपये नकद बरामद किए, जो रिश्वत की तय रकम का आधा हिस्सा था। पूरी कार्रवाई की वीडियोग्राफी भी की गई ताकि सबूत के तौर पर इसे अदालत में पेश किया जा सके।

पुराने आरोपों से घिरा कर्मचारी

राजू कुमार पर पहले से ही भ्रष्टाचार के कई आरोप लगे हुए थे। स्थानीय किसानों और जमीन मालिकों ने उस पर जमीन से जुड़ी फाइलों में गड़बड़ी और पैसे लेकर काम करने के आरोप लगाए थे।
हालांकि, अब तक उस पर कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई थी। इस गिरफ्तारी के बाद पुराने मामलों की फिर से जांच शुरू हो सकती है।
सूत्रों के मुताबिक, यह भी जांच की जा रही है कि क्या अंचल कार्यालय के अन्य कर्मचारी भी इस भ्रष्टाचार नेटवर्क में शामिल हैं।

निगरानी विभाग की सख्ती

इस ऑपरेशन को निगरानी डीएसपी की अगुवाई में विशेष टीम ने अंजाम दिया। टीम में एक इंस्पेक्टर, दो तकनीकी सहायक और अन्य सदस्य शामिल थे। उन्होंने पहले शिकायत की सत्यता की जांच की, फिर ऑडियो सबूतों की पुष्टि करने के बाद जाल बिछाया।
टीम ने स्पष्ट किया कि यह कार्रवाई राज्य सरकार की “जीरो टॉलरेंस पॉलिसी” के तहत की गई है।

निगरानी विभाग के एक वरिष्ठ पदाधिकारी ने कहा,

> “डुमरिया अंचल के राजस्व कर्मचारी राजू कुमार को रिश्वत लेते रंगे हाथ गिरफ्तार किया गया है। उसके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कर आगे की कानूनी कार्रवाई शुरू कर दी गई है। भ्रष्टाचार के मामलों में किसी को भी बख्शा नहीं जाएगा।”

आगे की कार्रवाई

गिरफ्तारी के बाद निगरानी टीम ने आरोपी को पटना मुख्यालय ले जाकर पूछताछ शुरू कर दी है। टीम यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि राजू कुमार किन अन्य मामलों में शामिल था और क्या वह किसी बड़े नेटवर्क का हिस्सा है।
साथ ही, डुमरिया अंचल कार्यालय में कार्यरत अन्य कर्मचारियों की भी भूमिका की जांच की जाएगी।

इस कार्रवाई के बाद डुमरिया अंचल में हड़कंप मच गया है। स्थानीय लोगों ने निगरानी विभाग की इस कार्रवाई का स्वागत किया है और उम्मीद जताई है कि इससे सरकारी कार्यालयों में बढ़ते भ्रष्टाचार पर अंकुश लगेगा।

निगरानी विभाग का स्पष्ट संदेश है — “भ्रष्टाचार करने वालों को बख्शा नहीं जाएगा, चाहे वे किसी भी पद पर क्यों न हों।”

 

By admin

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