एडीजे 14 विवेक कुमार की अदालत ने दोषी परमानंद महतो पर 20 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया है। अर्थदंड की राशि जमा नहीं करने पर उसे एक साल अतिरिक्त जेल में बिताना होगा।

बिहार के भागलपुर में अदालत ने भाई की हत्या के दोषी को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। अभियुक्त की पत्नी उसके परिवार से तंग आकर भाग गई थी। इससे गुस्साए शख्स ने दो साल पहले अपने भाई की गोली मारकर हत्या कर दी थी। पुलिस ने केस दर्ज कर आरोपी को गिरफ्तार किया और स्पीडी ट्रायल के तहत उसे सजा दिलाई गई। एडीजे 14 विवेक कुमार की अदालत ने दोषी परमानंद महतो पर 20 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया है। अर्थदंड की राशि जमा नहीं करने पर उसे एक साल अतिरिक्त जेल में बिताना होगा।

यह वारदात 2020 में अमडंडा थाना इलाके में हुई थी। एपीपी ने बताया कि अभियुक्त परमानंद ने अपने ही गांव की एक लड़की से शादी कर ली थी। अभियुक्त के परिवार वाले उस शादी के खिलाफ थे। परिवार को विरोध होने पर वह अपनी पत्नी को लेकर कुछ समय तक बाहर भी रहा। जब वापस लौटा तो फिर से परिवार के सदस्यों ने विरोध शुरू कर दिया। 

इससे तंग आकर परमानंद की पत्नी घर छोड़कर भाग गई। परमानंद ने सोचा कि परिवार वालों के विरोध की वजह से ही उसकी पत्नी भागी है। इसी बात को लेकर आक्रोश में आकर उसने अपने भाई पंचानंद महतो को गोली मार दी, जिससे उसकी मौत हो गई। पुलिस ने पिछले साल इस केस में आरोप-पत्र दाखिल किया था। अब कोर्ट ने परमानंद को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है।

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