पटना । जदयू के राष्ट्रीय संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा के ताबड़तोड़ बयानबाजी और विद्रोही तेवर पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने दो टूक कहा है कि उनके बयानों से हमें कोई लेना-देना नहीं। उनके मन में जो आ रहा है, वे बोल रहे हैं।
नीतीश कुमार ने ये बातें मंगलवार की सुबह जननायक कर्पूरी ठाकुर की जयंती पर माल्यार्पण के बाद विधानमंडल परिसर में पत्रकारों के एक सवाल के जवाब में कहीं।
एक दिन पूर्व जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजीव रंजन सिंह ललन ने भी उपेंद्र कुशवाहा के बयान को खारिज करते हुए कहा था कि जदयू का कोई भी नेता भाजपा के संपर्क में नहीं है। दरअसल, उपेंद्र कुशवाहा से पार्टी नेतृत्व खफा है।
पिछले दो बड़े आयोजनों में पार्टी ने उन्हें बुलावा तक नहीं भेजा। मंगलवार को 24 एम स्ट्रैंड रोड स्थित सरकारी आवास पर उपेंद्र कुशवाहा ने महात्मा फुले समता परिषद की ओर से कर्पूरी जयंती का आयोजन किया।
इसके बाद प्रेस कॉंफ्रेंस कर नीतीश कुमार के साथ मजबूती से खड़े होने का दावा भी किया तथा कई सवाल भी खड़े किये।
उधर, बापू सभागार में जदयू अतिपिछड़ा प्रकोष्ठ द्वारा आयोजित कर्पूरी ठाकुर जयंती समारोह में सीएम ने उपेंद्र कुशवाहा का नाम लिये बगैर कहा कि कोई आ भी जाता है, चला भी जाता है। किसी को आगे बढ़ाते हैं, तो भाग जाता है। जिसको जो मन में आये करे।
ललन बताएं राजद से क्या डील हुई
उपेंद्र कुशवाहा ने आरोप लगाया कि राजद के प्रदेश अध्यक्ष सत्ता हस्तांतरण को लेकर बयान दे रहे हैं। नीतीश कुमार को सीएम के पद से हटाकर आखिर ये लोग क्या करना चाह रहे हैं, यह वही बता सकते हैं।