भागलपुर जिले के गोराडीह थाना क्षेत्र अंतर्गत पिथना गांव के पास रविवार को एक दिल दहला देने वाला सड़क हादसा हुआ, जिसमें मोटरसाइकिल सवार दो युवक दुर्घटनाग्रस्त हो गए। इस दर्दनाक हादसे में 16 वर्षीय शहीदुर रहमान की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि उसका दोस्त मोहम्मद आमिर गंभीर रूप से घायल हो गया है। हादसे की खबर मिलते ही गांव में शोक की लहर दौड़ गई है और हर कोई इस घटना से गमगीन है।
### ईद की छुट्टियों में घर आया था शहीदुर
शहीदुर रहमान पिथना गांव निवासी मुजीबुर रहमान और रुहाना खातून का इकलौता बेटा था। वह पटना में रहकर 12वीं कक्षा की पढ़ाई कर रहा था और पढ़ाई के साथ-साथ क्रिकेट में भी बेहद प्रतिभाशाली था। उसके करीबी दोस्त और परिजन बताते हैं कि शहीदुर क्रिकेट का एक उभरता हुआ सितारा था, जिसने कई स्थानीय और जिला स्तरीय टूर्नामेंट में हिस्सा लिया था और अच्छा प्रदर्शन भी किया था।

इस बार वह ईद-उल-अजहा (बकरीद) की छुट्टियों में अपने गांव आया हुआ था। गांव आने के बाद वह अपने दोस्तों के साथ समय बिता रहा था। रविवार को वह अपने मित्र मोहम्मद आमिर के साथ सुल्तानगंज के वाटर पार्क में घूमने और नहाने के लिए निकला था, लेकिन उसे नहीं पता था कि यह सफर उसकी जिंदगी का आखिरी सफर साबित होगा।
### हादसा कैसे हुआ?
घटना पिथना गांव के पास दोपहर करीब 12 बजे हुई। प्रत्यक्षदर्शी रिजवान के अनुसार, एक ट्रक काफी तेज रफ्तार से आ रही थी और सामने से आ रही मोटरसाइकिल भी तेज गति में थी। ट्रक चालक ने साइड देने की कोशिश की, लेकिन उस समय मोटरसाइकिल असंतुलित होकर सड़क किनारे गड्ढे में गिर गई। गिरते ही बाइक पर बैठे शहीदुर के सिर में गंभीर चोट लगी, जिससे उसकी मौके पर ही मौत हो गई।
मोहम्मद आमिर को भी सिर, पीठ और चेहरे पर गंभीर चोटें आईं। हादसा इतना भयावह था कि घटनास्थल पर लोगों की भीड़ उमड़ पड़ी और अफरा-तफरी का माहौल बन गया।
### पुलिस और एंबुलेंस की तत्परता
घटना की सूचना मिलते ही गोराडीह थाना की पुलिस और 112 की एंबुलेंस टीम तुरंत मौके पर पहुंची। पुलिस ने शहीदुर के शव को अपने कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए जवाहरलाल नेहरू चिकित्सा महाविद्यालय अस्पताल (JLNMCH), भागलपुर भेजा। वहीं घायल आमिर को प्राथमिक इलाज के बाद गंभीर हालत में अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां डॉक्टरों ने उसे विशेष निगरानी में रखा है।
### डॉक्टरों की रिपोर्ट
अस्पताल के डॉक्टरों ने बताया कि शहीदुर के सिर में अत्यंत गंभीर चोट लगी थी और उसके शरीर में सूजन थी। सिर पर लगी गहरी चोट के कारण उसकी मौके पर ही मौत हो गई। डॉक्टरों ने बताया कि आमिर की हालत अभी भी नाजुक बनी हुई है और वह गहन चिकित्सा कक्ष (ICU) में भर्ती है।
### गांव में पसरा मातम
शहीदुर की मौत की खबर जैसे ही गांव और आस-पास के इलाके में फैली, पूरे क्षेत्र में शोक की लहर दौड़ गई। ग्रामीणों, रिश्तेदारों और दोस्तों की आंखें नम हो गईं। हर कोई उसकी असमय मौत पर अफसोस जता रहा है। गांव के बुजुर्गों से लेकर युवाओं तक, सभी उसकी प्रशंसा करते हुए नजर आए। लोगों का कहना है कि शहीदुर न केवल पढ़ाई में अव्वल था, बल्कि खेलों, विशेषकर क्रिकेट में भी उसकी गहरी रुचि थी।
उसके शिक्षक और कोच भी उसकी मौत की खबर से स्तब्ध हैं। कोच ने बताया कि शहीदुर एक मेहनती और समर्पित खिलाड़ी था, जो हमेशा अभ्यास के लिए तैयार रहता था। उसका सपना था कि वह एक दिन बिहार की रणजी टीम का हिस्सा बने।
### प्रशासन से मांग
हादसे के बाद गांव के लोगों और परिजनों ने प्रशासन से मांग की है कि दुर्घटना के लिए जिम्मेदार ट्रक चालक के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए। ग्रामीणों का कहना है कि इस क्षेत्र में अक्सर तेज रफ्तार से वाहन गुजरते हैं, जिससे दुर्घटनाओं का खतरा बना रहता है। उन्होंने सड़क पर स्पीड ब्रेकर और यातायात नियंत्रण के लिए पुलिस की तैनाती की भी मांग की है।
### एक सपना अधूरा रह गया
शहीदुर की मौत ने उसके माता-पिता के सपनों को भी तोड़ दिया है। उसकी मां रुहाना खातून का रो-रोकर बुरा हाल है। वह बार-बार यही कह रही हैं कि उनका बेटा पढ़-लिखकर उनका सहारा बनने वाला था, लेकिन नियति को कुछ और ही मंजूर था। पिता मुजीबुर रहमान भी सदमे में हैं और बोलने की स्थिति में नहीं हैं।
गांव के युवाओं ने शहीदुर को श्रद्धांजलि देते हुए कहा कि वह हमेशा उनके दिलों में जिंदा रहेगा। उसकी मेहनत, लगन और मुस्कान को वे कभी नहीं भूल पाएंगे।
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यह हादसा एक बार फिर यह सोचने पर मजबूर करता है कि सड़कों पर सुरक्षा के उपाय कितने जरूरी हैं, खासकर युवाओं के लिए जो भविष्य की उम्मीद होते हैं। शहीदुर रहमान का असमय निधन न केवल उसके परिवार बल्कि पूरे गांव के लिए अपूरणीय क्षति है।
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