यात्रायात्रा

भागलपुर जिले के पीरपैंती नगर पंचायत अंतर्गत सुंदरपुर स्थित इस्कॉन मंदिर से आज भगवान जगन्नाथ की भव्य रथ यात्रा निकाली गई। यह यात्रा इस्कॉन मंदिर से प्रारंभ होकर सुंदरपुर के रास्ते होते हुए शेरमारी बाजार चौक का भ्रमण करती हुई पुनः मंदिर परिसर में आकर संपन्न हुई। इस ऐतिहासिक और श्रद्धा से परिपूर्ण रथ यात्रा में हजारों की संख्या में महिला और पुरुष श्रद्धालुओं ने भाग लिया।

यात्रा
यात्रा


श्रद्धालु “हरि नाम संकीर्तन” करते हुए पूरे उल्लास और भक्ति भाव के साथ रथ के साथ चल रहे थे। यात्रा के दौरान श्रद्धालुओं की श्रद्धा देखते ही बन रही थी। भक्तजन भगवान जगन्नाथ, बलभद्र और सुभद्रा की प्रतिमा को सजे-धजे रथ पर विराजमान देख अभिभूत हो गए। चारों ओर हरिनाम की ध्वनि, ढोल-मंजीरे की गूंज और भक्ति में डूबी हुई भीड़ ने पूरे नगर के वातावरण को आध्यात्मिक रंग में रंग दिया।

इस अवसर पर इस्कॉन मंदिर परिसर में कथा और भंडारे का भी आयोजन किया गया, जिसमें श्रद्धालुओं ने प्रसाद ग्रहण किया। पंडाल में बैठकर भक्तों ने भगवान जगन्नाथ की महिमा पर आधारित कथा सुनी और आध्यात्मिक अनुभूति प्राप्त की।

रथ यात्रा को लेकर सुरक्षा व्यवस्था भी चाक-चौबंद रही। पीरपैंती थाना अध्यक्ष नीरज कुमार, एसआई प्रमोद कुमार सहित स्थानीय पुलिस बल और महिला पुलिसकर्मी बड़ी संख्या में तैनात रहे। वे पूरे रूट पर मुस्तैदी से डटे रहे और श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए विशेष सतर्कता बरती गई।

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, आषाढ़ मास के शुक्ल पक्ष की द्वितीया तिथि को हर वर्ष भगवान जगन्नाथ की रथ यात्रा निकाली जाती है। कुछ स्थानों पर द्वितीया से लेकर दशमी तिथि तक भी रथ यात्रा की परंपरा रहती है। ऐसा कहा जाता है कि जो व्यक्ति भगवान जगन्नाथ के रथ का स्पर्श कर लेता है या उसे खींचने का सौभाग्य प्राप्त करता है, उसके समस्त पाप स्वतः ही नष्ट हो जाते हैं और वह मोक्ष की ओर अग्रसर होता है।

रथ यात्रा में ईश्वर नाथ प्रभु, शिवम प्रभु, मुरारी प्रभु सहित अनेक इस्कॉन भक्तों ने भाग लिया। साथ ही भगवान जगन्नाथ के प्रिय भक्त मुरारी पासवान, सम्राट अशोक सहित बड़ी संख्या में लोगों ने रथ की रस्सी खींचकर स्वयं को सौभाग्यशाली माना।

रथ यात्रा के दौरान नगर के प्रमुख मार्गों को फूलों और तोरण द्वारों से सजाया गया था। विभिन्न स्थानों पर श्रद्धालुओं के लिए जलपान और विश्राम की व्यवस्था की गई थी। बच्चों से लेकर बुजुर्ग तक, हर आयु वर्ग के लोग भगवान के जयकारे लगाते हुए नगर भ्रमण करते नजर आए।

उल्लेखनीय है कि केवल इस्कॉन मंदिर से ही नहीं, बल्कि पीरपैंती नगर के अन्य जगन्नाथ मंदिरों से भी रथ यात्राएं निकाली गईं। श्रद्धालुओं ने पूरे उत्साह के साथ यात्रा में भाग लिया और नगर का भव्य भ्रमण करते हुए अंततः रथ को मंदिर में समर्पित किया।

कुल मिलाकर आज का दिन पीरपैंती के लिए ऐतिहासिक और आध्यात्मिक ऊर्जा से भरा हुआ रहा। यह रथ यात्रा सिर्फ एक धार्मिक आयोजन नहीं, बल्कि एक सांस्कृतिक महोत्सव बनकर उभरी, जिसने भक्तों को प्रभु के और करीब पहुंचा दिया।

 

 

 

अपना बिहार झारखंड पर और भी खबरें देखने के लिए इस लिंक पर क्लिक करें

भागलपुर में आत्मा योजना की समीक्षा बैठक सम्पन्न, उप विकास आयुक्त ने योजनाओं के क्रियान्वयन में गति लाने के दिए निर्देश

सहरसा में बड़ी साजिश नाकाम: कार्बाइन और कारतूस के साथ युवक गिरफ्तार, पुलिस की सतर्कता से टली बड़ी वारदात

By admin

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *