राज्य के 2 लाख 57 हजार किसानों से 347 करोड़ रुपये की वसूली होगी।
आयकरदाता होने के बावजूद गलत जानकारी देकर इन्होंने पीएम किसान सम्मान निधि योजना का लाभ लिया है। जांच में पकड़े जाने के बाद अब इनके खाते से वसूली शुरू कर दी गई है।
वसूली के लिए बैंकों को किसानों की सूची उपलब्ध कराई जा रही है। कृषि निदेशक आलोक रंजन घोष ने राज्य के बैंक प्रतिनिधियों के साथ बैठक में संबंधित किसान के खाते से वसूली के आदेश दिए हैं।
नियमानुसार आयकरदाता किसान पीएम किसान सम्मान निधि योजना का लाभ नहीं ले सकते हैं। बावजूद कई किसानों ने गलत जानकारी देकर इसका लाभ लिया। आधार नंबर से जब जांच की गई तो ये किसान पकड़ में आ गए।
जांच में 1 लाख 12 हजार किसान आयकर दाता पाए गए जबकि 1 लाख 45 हजार किसान भौतिक सत्यापन में अयोग्य पाए गए।
यानी कुल 2 लाख 57 हजार किसान सम्मान निधि के लिए अयोग्य पाए गए हैं।
कृषि विभाग इन्हीं किसानों की सूची एसएलबीसी के जरिए 35 बैंकों को उपलब्ध करा रहा है।
अभी तक करीब 90 हजार किसानों की सूची बैंकों को भेज दी गई है। अन्य किसानों की सूची भी जल्द ही ईमेल के जरिए बैंकों को भेजी जाएगी।
जमा राशि का विवरण दें किसान
अपर निदेशक (शष्य) डीपी त्रिपाठी ने बताया कि अयोग्य पाए किसानों ने 12 करोड़ रुपये जमा कराए हैं।
इनमें से तीन करोड़ रुपये का मिलान हो गया है। शेष का मिलान नहीं हो पाया है कि किसने राशि जमा कराई है।
इसलिए राशि जमा करा चुके किसानों को कृषि विभाग के डीबीटी पोर्टल पर जमा राशि का विवरण देने का मौका दिया गया है।
किसान कृषि समन्वयक, किसान सलाहकार, बीएओ, डीएओ के जरिए भी विवरण दे सकते हैं। ऐसा नहीं करने पर खाते से दुबारा राशि की कटौती कर ली जाएगी।
16 लाख किसान 15वीं किस्त से रहेंगे वंचित
कृषि विभाग के लाख प्रयास के बाद भी किसान ईकेवाईसी नहीं करा रहे हैं।
अभी भी राज्य के दस लाख किसानों ने ईकेवाईसी सत्यापन नहीं कराया है।
वहीं, छह लाख किसानों ने ईकेवाईसी तो करा लिया है लेकिन इनका बैंक खाता आधार से जुड़ा हुआ नहीं है।
ऐेसे किसान पीएम किसान सम्मान निधि की 15वीं किस्त से वंचित हो सकते हैं।
30 सितंबर तक कराएं ई-केवाईसी
अपर निदेशक (शष्य) डीपी त्रिपाठी ने बताया कि किसानों को 30 सितंबर तक ईकेवाईसी कराने को कहा गया है।
जिनका बैंक खाता आधार से जुड़ा हुआ नहीं है वे पोस्ट पेमेंट बैंक में खाता खुलवा लें। ऐसा नहीं करने पर पीएम किसान सम्मान निधि की 15वीं किस्त उनके खाते में नहीं जाएगी।
उन्होंने बताया कि किसान पोर्टल पर जाकर या मोबाइल में पीएम किसान जीओआई एप डाउनलोड कर ईकेवाईसी सत्यापन करा सकते हैं।