विपक्षी दलों के नेताओं ने ‘एक राष्ट्र एक चुनाव’ को लेकर रविवार को केंद्र सरकार पर निशाना साधा।
कांग्रेस, आप, एआईएमआईएम, द्रमुक समेत कई दलों ने एक सुर में इस विचार को लोकतंत्र पर हमला करार दिया।
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा कि एक देश, एक चुनाव का विचार भारतीय संघ और इसके सभी राज्यों पर हमला है।
वहीं, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा, लोगों के पास 2024 के लिए ‘एक राष्ट्र, एक समाधान’ है। वह है भाजपा के कुशासन से छुटकारा पाना।
इधर, दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने सवाल उठाते हुए कहा कि इससे आम आदमी को क्या मिलेगा।
देश के लिए क्या जरूरी है, एक देश एक चुनाव या एक राष्ट्र एक शिक्षा, एक देश एक इलाज।
एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने कहा, यह अवधारणा संसदीय लोकतंत्र और संघवाद के लिए त्रासदी होगी।
इस पर समिति का गठन बस औपचारिकता है। सरकार पहले ही निर्णय ले चुकी है।
तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने कहा कि एक साथ चुनाव कराने का विचार केवल एक साजिश है।
वहीं, सीपीआई (एम) नेता माणिक सरकार ने गठित समिति की आलोचना की, उन्होंने कहा कि भाजपा विपक्षी गठबंधन इंडिया से डरी हुई है।