वायरल वीडियो में पीड़ित व्यक्ति इंज्यूरी रिपोर्ट बनाने के लिए अपने पर्स से पैसे निकालकर चिकित्सक को दे रहा है और चिकित्सा प्रभारी पैसे लेकर अपनी पॉकेट में रख रहे हैं. हालांकि अपना बिहार झारखंड इस वायरल वीडियो की पुष्टि नहीं करता है. वीडियो कोढ़ा प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र का है.
कटिहार: सरकारी अस्पताल में राशि लेकर इलाज करने का मामला बंद होने का नाम नहीं ले रहा है. ऐसा ही एक मामला जिले के एक सरकारी अस्पताल से निकल कर सामने आया है. जहां स्वास्थ्य केंद्र के चिकित्सा प्रभारी हेवी इंज्यूरी रिपोर्ट बनाने के नाम पर रुपये ले रहे हैं. इसका सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल हो रहा है.
क्या है वीडियो है ?
वायरल वीडियो में पीड़ित व्यक्ति इंज्यूरी रिपोर्ट बनाने के लिए अपने पर्स से पैसे निकालकर चिकित्सक को दे रहा है और चिकित्सा प्रभारी पैसे लेकर अपनी पॉकेट में रख रहे हैं. हालांकि अपना बिहार झारखंड इस वायरल वीडियो की पुष्टि नहीं करता है. वीडियो कोढ़ा प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र का है. जहां स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी अजय कुमार सिंह इंज्यूरी रिपोर्ट बनाने के नाम पर पीड़ित से राशि ले रहे हैं.
प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी बोले…
वायरल वीडियो के बारे में प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी अजय कुमार सिंह से बात करने पर उन्होंने इस वीडियो की सत्यता को निराधार बताया. उन्होंने कहा कि यह वीडियो चार महीना पहले का है और अपने प्राइवेट क्लीनिक में मरीज का उपचार करने के बाद उनके परिजन पैसा दे रहे हैं. इस वीडियो को गलत तरीके से पेश किया गया है. इस वीडियो के जरिए मुझे बदनाम करने की कोशिश की जा रही है. जबकि दूसरी तरफ वीडियो में पैसा देने वाले पीड़ित दिलखुश कुमार ने बताया कि घरेलू विवाद में उनके पिता मारपीट के दौरान घायल हो गये थे. घायल होने के बाद उन्हें कोढ़ा प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया गया था. जहां हेवी इंज्यूरी रिपोर्ट बनाने के नाम पर प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी ने 5000 रुपये की डिमांड की थी. उन्होंने पैसे अपने निजी क्लीनिक में लिये हैं. इसका वीडियो बनाया गया है.
कहते है सिविल सर्जन
प्रभारी सिविल सर्जन डॉ डीएन झा ने बताया कि यह मामला संज्ञान में नहीं है. मामले को लेकर कोई शिकायत नहीं मिली है. अपने स्तर से इसकी जांच करायी जायेगी. यदि मामले में चिकित्सा प्रभारी दोषी पाये जाते हैं तो उन पर कार्रवाई होगी.