कोरोना वायरस के एक के बाद एक वैरिएंट ने पूरी दुनिया की नींद उड़ा रखी है। दूसरी लहर में भारत और दुनिया को बुरी तरह प्रभावित करने वाले डेल्टा वैरिएंट से उबरने के बाद इस समय ओमिक्रॉन का खतरा मंडराया हुआ है। लेकिन अब इन सबसे बीच एक और वैरिएंट सामने आया है जिसे ‘डेल्टाक्रॉन’ (Deltacron) कहा जा रहा है। एक मीडिया रिपोर्ट में कहा गया है कि साइप्रस में एक नया कोरोना वायरस वैरिएंट डेल्टाक्रॉन उभरा है। रिपोर्ट में कहा गया है कि ‘डेल्टाक्रॉन’ का जेनेटिक बैकग्राउंड डेल्टा वैरिएंट के समान है, साथ ही इसमें ओमिक्रॉन जैसे कुछ म्यूटेशन भी हैं। इसीलिए इसे ‘डेल्टाक्रॉन’ कहा गया है।
‘फिलहाल चिंता की बात नहीं’
हालांकि विशेषज्ञों का कहना है कि यह चिंता की बात नहीं है। कुल मिलाकर, साइप्रस में लिए गए 25 नमूनों में ओमिक्रॉन के 10 म्यूटेशन पाए गए। जेरूसलम पोस्ट ने साइप्रस मेल का हवाला देते हुए बताया कि नमूनों में से 11 ऐसे लोगों के थे जो वायरस के कारण अस्पताल में भर्ती थे, जबकि 14 सामान्य आबादी से आए थे। साइप्रस विश्वविद्यालय में जैव प्रौद्योगिकी और आणविक वायरोलॉजी की प्रयोगशाला के प्रमुख डॉ. लियोनडिओस कोस्त्रिकिस ने कहा कि अस्पताल में भर्ती रोगियों के बीच म्यूटेशन की फ्रीक्वेंसी अधिक थी और यह नए वैरिएंट और अस्पताल में भर्ती होने के बीच संबंध की इशारा करता है।
डेल्टा और ओमिक्रॉन से मिलकर बना है ‘डेल्टाक्रॉन’!
कोस्त्रिकिस ने इस बात पर भी जोर दिया कि इस वैरिएंट का डेल्टा वैरिएंट के समान जेनेटिक बैकग्राउंड है, साथ ही साथ ओमिक्रॉन से कुछ म्यूटेशन भी हैं। साइप्रस के स्वास्थ्य मंत्री मिखलिस हाडजीपांडेलस ने शनिवार को कहा कि नया वैरिएंट फिलहाल चिंता की बात नहीं है। मंत्री ने नए वैरिएंट की खोज पर भी गर्व व्यक्त किया। हाजीपांडेलस ने कहा कि डॉ. कोस्त्रिकिस की टीम के अभूतपूर्व शोध और निष्कर्ष हमें अपने वैज्ञानिकों पर गर्व कराते हैं। जेरूसलम पोस्ट के अनुसार, मंत्री ने यह भी कहा कि यह शोध स्वास्थ्य के मामलों में साइप्रस को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर रखता है। वैसे अभी तक, नए वेरिएंट के वैज्ञानिक नाम की घोषणा नहीं की गई है।