कोरोना की तीसरा लहर भी साइबर ठगों के लिए हथियार बन गयी है। साइबर ठगों के द्वारा अब अलग-अलग तरह के हथकंडे अपनाते हुए लोगों को ठगी का शिकार बनाया जा रहा है। सर्वाधिक शिकार वैक्सीनेशन के नाम पर किया जा रहा है, जिसमें कैशबैक ऑफर के नाम पर लोगों को साइबर ठग अपने जाल में फंसाते हैं। इसकी जानकारी मिलने के बाद और लगातार आ रही शिकायतों को देखते हुए साइबर पुलिस ने आम लोगों को अलर्ट किया है।
जो मामले सामने आए हैं, उनमें साइबर ठगों द्वारा लोगों को कॉल कर बताया जाता है कि उन्होंने कोरोना वायरस का टीका ले लिया है तो उन्हें कैशबैक ऑफर दिया जा रहा है। इस तरह की ठगी वैसे लोगों से की जा रही है, जिनके मोबाइल में डिजिटल पेमेंट का ऐप डाउनलोड है। कैशबैक ऑफर के नाम पर लिंक पर क्लिक करते हुए रुपये का ऑप्शन आ जाता है और कॉलर द्वारा उस राशि के इनामी राशि होने का झांसा देकर लोगों से खाते में आने की प्रक्रिया अपनाई जाती है और फिर खाते से रुपये निकल जाते हैं।
नही दें बैंक एकाउन्ट का डिटेल
जमशेदपुर के साइबर थाना में इस तरह के तीन मामले सामने आए हैं, जिसके बाद से पुलिस अलर्ट है। इससे पहले जमशेदपुर में कोरोना वायरस के नाम पर ठगी की गई थी। इसमें इम्युनिटी डिवेलप करने का हवाला देकर साइबर ठगों द्वारा जड़ी-बूटी बेचने का झांसा दिया गया था। इसके आधार पर लोगों को ठगी का शिकार बनाया गया था। इतना ही नहीं, साइबर ठगों ने लोगों को कॉल कर टीकाकरण से संबंधित जानकारी देते हुए उनसे उनका बैंक अकाउंट और अन्य विवरण ले कर भी रुपये उड़ाए गए थे।
लिंक को नही करें क्लिक
साइबर पुलिस का कहना है कि किसी भी तरह के कैशबैक ऑफर जिसके लिंक भेजे जाते हैं तो उसका इस्तेमाल ना करें। किसी भी इनामी राशि के बारे में पूरी तरह से पहले संतुष्ट हो जाएं, उसके बाद उसकी प्रक्रिया में जाएं। किसी को अपने खाते का विवरण न दें और साथ ही यदि डिजिटल पेमेंट का इस्तेमाल करते हैं तो लिंक पर क्लिक करने से पहले अवश्य पढ़ ले कि रुपए आपके खाते से निकलेंगे या आपके खाते में आएंगे।
साइबर क्राइम
●lसाइबर थाने में शिकायत दर्ज कर हो रही ठगों की तलाश
● पुलिस ने किसी भी लिंक का इस्तेमाल न करने की अपील की
कहते हैं पुलिस पदाधिकारी
टीकाकरण को लेकर कैशबैक ऑफर के कुछ कॉल्स से ठगी की गई है। पुलिस अपने आधार पर मामले की जांच कर रही है, लेकिन लोगों को इसमें सतर्क रहने की जरूरत है। किसी भी अवांछित लिंक उस पर क्लिक करने से बचें। – उपेंद्र मंडल, साइबर थाना प्रभारी